गाजा: ईंधन न होने से अल अमल अस्पताल के जनरेटर हुए बंद, खतरे में पड़ी 90 मरीजों की जान

गाजा। गाजा पट्टी के अल अमल अस्पताल में एकमात्र बिजली जनरेटर ने ईंधन नहीं होने के कारण काम करना बंद कर दिया है, जिससे 90 मरीजों की जान खतरे में पड़ गई है। फिलिस्तीन रेड क्रिसेंट सोसाइटी (पीआरसीएस) ने मंगलवार को यह जानकारी दी। सोसायटी ने एक्स पर लिखा “आज, खान यूनिस में पीआरसीएस से संबद्ध अल-अमल अस्पताल में एकमात्र बिजली जनरेटर ने भी काम करना बंद कर दिया। इससे उपचाराधीन 90 मरीजों के जीवन खतरे में है, जिनमें चिकित्सा पुनर्वास अनुभाग के 25 मरीज भी शामिल हैं, जो अब किसी भी स्थिति में मौत का सामना कर सकते हैं। इसके अतिरिक्त, लगभग 9,000 विस्थापितों ने पीआरसीएस परिसर और अस्पताल में शरण मांगी है।”

पीआरसीएस ने कहा कि अस्पताल वर्तमान में प्रसूति वार्ड में बिजली की आपूर्ति और आपातकालीन बिजली व्यवस्था के लिए एक छोटे जनरेटर का उपयोग कर रहा है, हालांकि, शेष ईंधन अगले 24 घंटों के भीतर खत्म होने की आशंका है। बयान में कहा गया है कि पीआरसीएस मुख्यालय और अल अमल अस्पताल दोनों बिजली आपूर्ति स्रोत के रूप में जनरेटर पर निर्भर थे।

उल्लेखनीय है कि 07 अक्टूबर को फिलिस्तीनी समूह हमास ने गाजा पट्टी से इजरायल के खिलाफ अचानक बड़े पैमाने पर रॉकेट हमला किया और सीमा का उल्लंघन किया एवं पड़ोसी इजरायली समुदायों के लोगों की हत्या और अपहरण किया था। इज़रायल ने जवाबी हमले शुरू किए और पानी, भोजन और ईंधन की आपूर्ति में कटौती करते हुए गाजा पट्टी की पूर्ण नाकाबंदी का आदेश दिया। 27 अक्टूबर को, इज़रायल ने हमास लड़ाकों को खत्म करने और बंधकों को बचाने के घोषित लक्ष्य के साथ गाजा पट्टी के अंदर बड़े पैमाने पर जमीनी जंग शुरू की। दोनों पक्षों में संघर्ष के बढ़ने से इज़रायल में लगभग 1,400 और गाजा पट्टी में 11,000 से अधिक लोगों की मौत हो गई।

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